
कानपुर। श्री साईधाम मंदिर जूही गौशाला में सोमवार को 18वां अन्नकूट महोत्सव श्रद्धा और उल्लास के साथ संपन्न हुआ। प्रातःकाल वैदिक मंत्रोच्चार के मध्य प्रधान आचार्य पं. लक्ष्मीनारायण अवस्थी एवं नीलेश पाण्डेय के नेतृत्व में श्री साईनाथ, वेकेंटेश जी, भू देवी एवं श्री देवी का दूध, दही, शहद व शक्कर आदि से अभिषेक किया गया। इसके उपरांत दिव्य श्रृंगार संपन्न हुआ। सायं 4:30 बजे 21 बत्तियों की रजत दीपों से

महाआरती की गई। श्रद्धालुओं के लिए 56 भोग को आकर्षक ढंग से तीन श्रेणियों में सजाया गया था। प्रथम श्रेणी में दूध, रबड़ी, मलाई, मेवा, फल, बर्फी, पेड़ा, लौंगलता, गुजिया, समोसा, खस्ता, बूंदी, गुलाब जामुन, मीठी पापड़ी, पान कला, नमकीन पापड़ी, बेसन लड्डू, मेवा लड्डू, इमरती, बालूशाही आदि प्रमुख रहे।द्वितीय श्रेणी में सेव, मठरी, शाके, पूआ, पूरी, सात प्रकार की सब्जियां, दही, चटनी, खीर आदि सम्मिलित थे।तृतीय श्रेणी में कढ़ी, रसोज, कोफ्ता, रोटी, खिचड़ी, सब्जी, चटनी, अचार, सलाद, बुकनू, घी, गुड़, चावल आदि व्यंजन सजाए गए।कार्यक्रम का विशेष आकर्षण 101 किलोग्राम पके चावल से तैयार गोवर्धन पर्वत रहा, जिसे देखने के लिए भक्तों की भीड़ लगी रही।मंदिर प्रबंधक अरुण कुमार मिश्र ने बताया कि अन्नकूट की परंपरा द्वापर युग में भगवान श्रीकृष्ण द्वारा निरंतर सात दिन तक गोवर्धन पर्वत धारण करने की स्मृति में यशोदा मैया द्वारा स्थापित की गई थी, जिसमें आठ पहर के अनुसार 56 व्यंजनों का भोग अर्पित किया जाता है।
इस अवसर पर विधान सभा अध्यक्ष सतीश महाना, महापौर प्रमिला पाण्डेय, प्रदेश सरकार के मंत्री राकेश सचान, सांसद रमेश अवस्थी, विधायक महेश त्रिवेदी, मुख्य ट्रस्टी प्रवीण अरोड़ा, विधायक सरोज कुरील, भाजपा क्षेत्रीय अध्यक्ष प्रकाश पाल सहित अनेक गणमान्य उपस्थित रहे। कार्यक्रम में सतनाग अरोड़ा, राकेश अग्रवाल, मनीष अरोड़ा, बिंद्रा प्रसाद त्रिपाठी, मनोहर लाल बजाज तथा मीडिया प्रभारी अशोक मिश्रा की प्रमुख भूमिका रही।

